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देबाशीष दासगुप्ता का जीवन परिचय | Debashish Das Gupta Biography In Hindi
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Singer Debashish Das Gupta Biography: देबाशीष दासगुप्ता एक भारतीय गायक कलाकार है जिन्होंने पीछले तीन दशकों में भक्ति और बॉलीवुड में बहुत सारे गानों को गाया है. जी हाँ आज हम बात कर रहे है देबाशीष दासगुप्ता की जिन्होंने बॉलीवुड में हिंदी संगीत में अपनी सुरीली आवाज दी है! तो आइये जानते है देबाशीष दासगुप्ता की जीवनी!
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देबाशीष दासगुप्ता के जीवन से जुडी कुछ महत्वपूर्ण बातें | Singer Debashish Das Gupta
देबाशीष दासगुप्ता का जन्म (1 अगस्त 1955) कोलकाता, पश्चिम बंगाल में हुआ था.12 वर्ष की उमर से ही उनकी रूचि गाने में थी. छोटी उम्र से ही उन्होंने समारोह व स्थानीय कार्यक्रमों में प्रदर्शन करना शुरू किया. सन 1987 में वह मुंबई (महाराष्ट्र) चले गये जहाँ भारत की सबसे बड़ी कंपनी टी-सीरीज ने इनकी प्रतिभा को पहचाना. दासगुप्ता के करियर में चार चाँद तब लगे जब दिवंगत गुलशन कुमार प्रशिक्षु के रूप में इनके जीवन में आये.
सपना मुखर्जी के साथ देबाशीष दासगुप्ता का पहला एल्बम भक्तिमय गाने ‘सब के साईं’ को सन 1989 में रिकॉर्ड किया गया. इस एल्बम की सफलता के बाद इनका पहला बॉलीवुड गाना 'मिल्दी नसीबन नाल मोहब्बत' गाना गाने का अवसर मिला.
प्रसिद्ध गायक देबाशीष दास गुप्ता के जीवन से संबधित कुछ जानकारियां | Debashish Das Gupta Biography
इस गाने के बाद देबाशीष दासगुप्ता ने कई ब्लॉकबस्टर गाने गाये. जिनमे “सड़क” (1991), “दिल है की मानता नहीं” (1991), “साथी” (1991), “गीत” (1992), “शोला और शबनम” (1992), “अंदाज़ अपना अपना” (1993) और “सकला तीर्थ तो चरणे” (2003) गाने शामिल है, जो काफी सुपरहिट हुए. सन 2000 में इन्होने 'कबीर अमृतवाणी' एल्बम’ को जारी किया जिसको लोगो के द्वारा काफी पसंद किया गया. यह एल्बम इतना लोकप्रिय हुआ की इन्होने पहले एल्बम के बाद सत्रह वॉल्यूम और रिकॉर्ड किए. बेला, प्रिया भट्टाचार्य, वैशाली सामंत और अनुराधा पौडवाल ने इनको पूरी दुनिया में प्रसिद्ध कर दिया, क्योकि उन्होंने मालदीव, मॉरीशस, हांगकांग, सिंगापुर, संयुक्त राज्य अमेरिका, हॉलैंड, दक्षिण अफ्रीका और यूनाइटेड किंगडम में अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर प्रदर्शन किया था.
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महान संगीत निर्देशक (आरडी बर्मन) के साथ देबाशीष दासगुप्ता दक्षिण अफ्रीका के दौरे पर गये, वहाँ सन 1991 में हो रहे रंगभेद व्यवस्था के उत्थान के बाद पहले भारतीय कलाकारों में से एक कलाकार बने, जिन्होंने देश हित में प्रदर्शन किया. उन्हें न्यूयॉर्क 1993 में अमेरिकन गिल्ड ऑफ म्यूजिकल समारोह में गाना गाने का अवसर भी मिला था और दूसरा अवसर न्यू जर्सी में इन्फिनिटी सेंटर ऑफ ईस्टर्न एंड वेस्टर्न आर्ट्स एंड कल्चर में मिला. इनका आखिरी एलबम (रब रूप जोगी) को काफी पसंद किया गया, जिसकी 2014 में दस लाख से ज्यादा कोपीयों की बिक्री हुई.
उन्होंने अपने जीवन में भारतीय संगीत इंडस्ट्रीज में महत्वपूर्ण योगदान दिया. इनका निधन 30 अक्टूबर 2021 को हुआ था. इन्होने अपने करियर में काफी गाने गाये जो काफी सुपरहिट व ब्लाकबास्टर हुए. संगीत के जगत में इनका योगदान बहुत महत्वपूर्ण है, इसलिए आज भी लोग इनको काफी पसंद करते है. Debashish Das Gupta Biography In Hindi